औरंगाबाद, बिहार।
बिहार सरकार के पशु और मत्स्य संसाधन विभाग के तत्वाधान में मत्स्य पालन की आधुनिक ट्रेनिंग को लेकर जिले से 60 सदस्यीय एक जत्था रवाना किया गया है। इन्हें मत्स्य पालन भ्रमण और दर्शन कार्यक्रम के तहत बायोफ्लॉक, चौर विकास, समेकित मत्स्य पालन और मात्स्यिकी तकनीकी का भ्रमण शामिल है। इस जत्थे को जिलाधिकारी सौरभ जोरवाल ने औरंगाबाद कलेक्ट्रेट में हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।
इस सम्बंध में जिलाधिकारी सौरभ जोरवाल ने बताया कि औरंगाबाद जिले से चयनित 60 मत्स्य पालकों के एक जत्थे को आधुनिक ट्रेनिंग के लिए नालंदा के लिए रवाना किया गया है। इन्हें दो बसों में रवाना किया गया है। जहाँ बायो फ्लॉक टेक्नोलॉजी की ट्रेनिंग 2 दिनों की होगी। जिसकी तकनीक का लाभ उठाकर वह अपने उत्पादन क्षमता को बढ़ाएंगे।


वहीं मत्स्य पालकों के ग्रुप का नेतृत्व कर रहे जिला मत्स्य विभाग के पदाधिकारी अजय कुमार और निषाद विकास मंच के अध्यक्ष और वीआईपी पार्टी के प्रवक्ता राजेश कुमार चौधरी ने बताया कि मत्स्य पालकों की स्थिति में सुधार के लिए पशु और मत्स्य विभाग द्वारा मत्स्य पालकों के लिए प्रशिक्षण योजना लाई गई है। जिसके अंतर्गत जिले के बारुण प्रखंड से चयनित किए गए 60 मछली पालकों को प्रशिक्षण हेतु नालंदा ले जाया जा रहा है। बिहार सरकार की इस योजना से मछली पलकों के जीवन स्तर में सुधार होगा।
ट्रेनिंग के लिए जा रहे मछली पालकों में मुख्य रूप से गुलाबचंद चौधरी, भजन चौधरी, शम्भू चौधरी, केदार चौधरी, सत्येंद्र चौधरी, पारसनाथ चौधरी, गणेश चौधरी, रवि चौधरी, अजय चौधरी, विकास चौधरी ,अमित चौधरी ,रामजी चौधरी के साथ अन्य लोग शामिल हैं।